नैना
नई दिल्ली 6 अक्टूबर चुनाव आयोग आज दोपहर में पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान करेगा इनमें से मध्य प्रदेश राजस्थान और छत्तीसगढ पर देश भर की निगाहें हैं। इन राज्यों में जहां कांग्रेस के लिए वापसी सबसे बड़ी चुनौती है तो वहीं बीजेपी के लिए वर्तमान सीटों के साथ बंपर सीट का दावा साबित करना सबसे बड़ा काम होगा।
हम आपको तीनों राज्यों में विधानसभा की वर्तमान स्थिति के बारे में जानकारी करते हैं मध्यप्रदेश में कुल 231 सीटें हैं इनमें से 230 सीट पर चुनाव होता है 2013 के चुनाव में भारतीय जनता पार्टी को 166 कांग्रे स्कोर बसपा को 4 और अन्य को 3 सीटें मिली थी।
मध्यप्रदेश में वैसे तो सभी दलों ने जमीन पर अपनी लड़ाई की तैयारी पूरी कर ली है लेकिन राजनीतिक तौर पर देखा जाए तो कांग्रेसी और बीजेपी के बीच मुख्य मुकाबला है इन पार्टियों के अलावा बसपा, सपा गोंडवाना स्वतंत्र पार्टी जय जैसे संगठन शामिल हैं इसके अलावा सपाक्स की अनारक्षित समाज पार्टी ने भी चुनाव मैदान में आने का फैसला किया है।
मध्यप्रदेश में शिवराज सिंह चौहान की सरकार इस बात की पूरी कोशिश में लगी है कि वर्तमान 166 सीटों की संख्या को बढ़ाकर 200 तक पहुंचाया जाए तो वहीं वनवास जेल रहे कांग्रेसी बीजेपी को 100 के अंदर समेटने के साथ भारी मतों से जीत का हासिल करने का दावा कर रही है।
इन दोनों ही पार्टियों को बहुजन समाज पार्टी के अलावा समाजवादी पार्टी सपाक्स की अनारक्षित समाज पार्टी से कई जगह फायदा तो कई जगह नुकसान होने की संभावना है।
राजस्थान की बात करें तो विधानसभा की कुल 200 सीटें हैं सन 2013 में भारतीय जनता पार्टी को 163 सीटों पर जीत हासिल हुई थी कांग्रेश 21 सीटों पर सिमट कर रह गई थी भाजपा को 3 एनपीपी को 4 ए यू जेड पी को दो ,जबकि 7 सीटों पर निर्दलीय उम्मीदवार जीते थे।
यहां भी मुख्य रूप से कांग्रेसो बीजेपी के बीच मुकाबला है ।बसपा नेशनल पीपुल्स पार्टी के अलावा घनश्याम तिवारी ने बीजेपी से बगावत कर भारत वाहिनी पार्टी बनाई है।
राजस्थान में जहां मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के सामने अपनी छवि को साबित करने का मौका है तो वहीं कांग्रेश के सामने गहलोत और पायलट की जुगल जोड़ी के सहारे वापसी करने की उम्मीद।
अब बात करें छत्तीसगढ़ की यहां विधानसभा में 90 सीटें हैं 2014 में हुए विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने 49 कांग्रेश 39 बीएसपी को एक और अन्य को एक सीट मिली थी।
यहां रमन सिंह सरकार के सामने कांग्रेसी को एक बार फिर से मात देने की चुनौती है तो वहीं कांग्रेस के सामने सबसे बड़ा सवाल यह है क्या कब है रमन सिंह को सत्ता से बेदखल कर सकेगी?
छत्तीसगढ़ में मध्यप्रदेश और राजस्थान की तरह कांग्रेस बीजेपी के बीच मुख्य मुकाबला है वैसे आपको बता दें कि कांग्रेस से बगावत करने वाले अजीत जोगी ने छत्तीसगढ़ जनता कांग्रेस जोगी नाम से पार्टी बनाई है इस बार उनका बसपा से गठबंधन भी है । इसके साथ गोंडवाना गणतंत्र पार्टी भी मैदान में है
इन 3 राज्यों के अलावा मिजोरम और तेलंगाना में भी चुनाव होना है। पांचों राज्यों के चुनाव बहुत हद तक 2019 के चुनाव की तस्वीर को उभारने का काम करेंगे। इसलिए कांग्रेसी और बीजेपी दोनों ही पार्टियां अपनी साख को 2019 के हिसाब से चमकाने का प्रयास कर रही हैं।