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स्वयंसेवकों को कुछ घंटों में ही सेना के बराबर खड़ा किया जा सकता -अनिल ओक

झांसी। लक्ष्मी व्यायाम मंदिर में डा. हैडगेवार के जन्मदिवस पर राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ का समागम सम्मेलन हुआ है। जिसमें संघ के अखिल भारतीय सह व्यवस्था प्रमुख अनिल ओक रहे। सम्मेलन में उन्होंने कहा कि डा. हैडगेवार ने 1925 में राष्ट्र सेवा की भावना से संघ की स्थापना की थी। कार्यक्रम में स्वयंसेवकों को संबोधित करते हुए कहा कि हिन्दूओं को सचेत हो जाना चाहिये। जब विश्व के लोग जंगलों में रहते थे। तब हमारे पूर्वज सर्वाधिक उन्नत थे। अंग्रेजों ने भी हमारे वेदों में वर्णित सैन्य संचालन के अनुसार ही अपनी सेना बनाई।
उन्होंने बताया कि स्वामी रामदास ने लिखा है कि जो अपने पुरखों की कीर्ति गाते रहते हैं और स्वयं कुछ नहीं करते वे मूर्खों की श्रेणी में आते हैं। उन्होंने हिन्दु के पिछड़ने का कारण भी यही बताया। पूर्वजों का गुणगान कर हम आत्म मुग्धता का शिकार हुये है इस कारण स्वयं कुछ नहीं कर रहे है।
1947 में महात्मा गांधी जी ने जो गलती की थी। उसका एहसास आजादी के बाद हुआ। उन्होंने कहा था कि हिन्दू, मुस्लिम भाई-भाई हैं। यदि एक भाई अपने अधिकारों के चलते अलग राष्ट्र की मांग करते हैं तो इसमें गलत क्या है? उन महापुरुष के कथनानुसार पाकिस्तान बना दिया गया और मुस्लिम वहां रहने लगे। मां का बंटवारा हुआ, उसका बलात्कार करते हुए दो भागों में चीरकर बांटा गया।
हिन्दुओं के विघटन से देश गुलाम हुआ था। इसलिए इसे संगठित करने के लिए संघ की स्थापना की गई। देश विरोधियों के साथ कोई और नहीं हमारा हिन्दु ही खड़ा है। उन्होंने कहा कि शाखा बेदम सी दिखती है,लेकिन इससे सरकारें डरती हैं। उन्होंने कहा कि शाखा में व्यक्ति का निर्माण होता है। सामाजिक समरसता होती है। जातिभेद नहीं होता, कहा कि यदि सेना को घंटों में तैयार करना हो तो समाज से लोगों को नहीं छांटा जा सकता। लेकिन स्वयंसेवकों को महज कुछ घंटों में ही सेना के बराबर खड़ा किया जा सकता है। कहा कि देश भारत तेरे टुकड़े होंगे जैसे नारों को सुनकर देश के बारे में सोचना होगा।
कार्यक्रम में शिव कुमार, महानगर संघ चालक सतीश शरण अग्रवाल, क्षेत्र प्रचार प्रमुख राजेन्द्र सक्सेना, जयपाल सिंह महानगर प्रचार प्रमुख, सहप्रांत प्रचारक श्रीराम, सहप्रांत कार्यवाह अनिल,सह प्रांत शारीरिक शिक्षण प्रमुख ब्रजेन्द्र,रामकेश,सह विभाग कार्यवाह जयसिंह, विभाग कार्यवाह ओमनारायण, विभाग बौद्धिक प्रमुख मनोज टाटा व कार्यक्रम के मुख्य शिक्षक राहुल समेत हजारों की संख्या में स्वयंसेवक उपस्थित रहे।

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