झांसीः इन दिनो नगर विधायक रवि शर्मा अपनो के निशाने पर हैं। वो व्यस्त है, लेकिन उनसे अपेक्षाएं विद्रोह की चिगारी को हवा दे रही हैं। बीते रोज जिस तरह से महिलाओ ने सड़क पर आकर विधायक को खरी खोटी सुनायी। इससे यह साबित होता है कि भाजपा मे अंदर की राजनीति कुछ अलग ही कहानी बयां कर रही है।
महिलाओ के सड़क पर प्रदर्शन को लेकर कई तरह के सवाल खड़े हो रहे हैं। सवाल नंबर एक-क्या यह प्रदर्शन पूर्व नियोजित था? क्या वाकई रवि शर्मा ने कहा था कि टिकट दिलाया जाएगा? क्या महिलाओ ने पैसा टिकट को लेकर खर्च किया? क्या यही उनकी समाजसेवा है? सवाल-क्या इस प्रदर्शन के पीछे किसी का हाथ है? सवाल बहुतेरे हैं, लेकिन हकीकत के आइने मे जो नजर आया, उसने विधायक को फिलहाल के लिये खलनायक बना दिया।
एक गीत की लाइने चरितार्थ हो गयी। मेरा विधायक बड़ा दगाबाज रे। यदि यह सही है कि आश्वासन के बाद टिकट नहीं मिला, तो गुस्सा आएगा। इसका मतलब यह होगा कि हर कोई सड़क पर प्रदर्शन करने आ जाए?
भाजपा मे विद्रोह ही चिंगारी सुलग रही है। इसे अपने हवा दे रहे हैं। कुछ दावेदार चाहते है कि टिकट वितरण मे रवि शर्मा को पर्देे के पीछे कर दिया जाए।
वैसे रवि शर्मा के प्रति गुस्सा अचानक भी नहीं है। उनकी कई मामलांे में ढिलाई उनके प्रति अपनो को नाराज कर देती है। बरहाल, कल जो हुआ, वो एक टेलर माना जाए। अभी तो बसपा की चिंगारी का हश्र देखना बाकी है?