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झाँसी-बीजेपी में विधायक सीमाएं लांघने को तैयार,रिपोर्ट-देवेंद्र, रोहित,सत्येंद्र

झाँसी। लोकसभा चुनाव के लिए वर्तमान सांसद उमा भारती के चुनाव न लड़ने के ऐलान के बाद झांसी ललितपुर संसदीय क्षेत्र में बीजेपी के वर्तमान और निवर्तमान विधायक अब अपनी राजनीतिक पारी को विस्तार देने के लिए सीमाएं लांग ने के लिए तैयार हैं।

टिकट की दौड़ में तेजी से दौड़ रहे इन वर्तमान और पूर्व विधायकों ने प्रचार में पूरी ताकत झोंक दी है । पोस्टर बैनर के साथ सोशल मीडिया पर अपनी धमक दिखाते हुए यह दावेदार दावा कर रहे हैं कि टिकट मिला तो जीत पक्की है।

पार्टी में वर्तमान विधायकों में नगर विधायक रवि शर्मा, बबीना विधायक राजीव सिंह पारीछा और ललितपुर से विधायक रामरतन कुशवाहा का नाम दावेदारों में काफी तेजी से आगे चल रहा है । पूर्व विधायक में रविंद्र शुक्ला भी अपनी दावेदारी ठोक रहे हैं।

पार्टी में अपनी लाइन बनाते हुए बबीना विधायक राजीव सिंह परीक्षा में जिस तेजी से अपने आप को स्थापित किया है वह उनके संघर्ष की गाथा को दर्शाता है । राजीव सिंह परीक्षा पिछले लंबे समय से जद्दोजहद करते हुए जनता के बीच जाकर उनके साथ जुड़ाव कर रहे हैं।

सार्वजनिक समारोह से लेकर कार्यालय में जनता को उनकी समस्याओं के निदान के लिए मिलने का समय देने की उनकी रणनीति अब उन्हें राजनीतिक शिखर की ओर ले जाने को बेताब है? शायद यही कारण है कि वह विधायकी के साथ सांसद की दौड़ में खुद को शामिल करना चाहते हैं । प्रचार अभियान में उनका आक्रामक रवैया दर्शाता है कि वह पार्टी का आदेश मिलने का इंतजार कर रहे हैं ।

वैसे कहा जा रहा है कि राजीव सिंह परीक्षा पिछले कुछ दिनों से पार्टी में इस बात को कहते भी रहे हैं कि यदि उन्हें टिकट दिया जाता है, तो वह जीत के लिए पूरा प्रयास करेंगे । राजीव सिंह पारीछा ने अपने विधायकी के कार्यकाल के थोड़े ही दिनों में ग्रामीण इलाकों में सरकार की नीतियों और सरकारी कार्यक्रमों को लागू कराने में काफी मेहनत की है । उनके प्रयास से शौचालय, आवास से लेकर अन्य सुविधाएं ग्रामीण स्तर पर मिलने लगी है।

इधर, नगर विधायक रवि शर्मा भी अपने कद को बढ़ाने के लिए बेताब है । वह नगर में विधायक निधि से पेयजल योजना जैसे कठिन कार्य को सरकार से स्वीकृत करा चुके हैं । इसके अलावा सड़क निर्माण सफाई व्यवस्था से लेकर अन्य कामों में जिस तेजी से उन्होंने पहल की है , उसने रवि शर्मा की लोकप्रियता में काफी बढ़ोतरी की है। रवि शर्मा को भी लगता है कि वह सांसद के चुनाव में मैदान में उतर सकते हैं ।

इसके अलावा ललितपुर के विधायक रामरतन कुशवाहा का नाम भी तेजी से सांसद के टिकट के दावेदारों में आगे आ रहा है । उन्होंने अपने आप को क्षेत्र से आगे निकालते हुए झांसी में कई कार्यक्रम में शिरकत कर इस बात के संकेत दिए हैं वह अब विधानसभा क्षेत्र में ही पार्टी का काम ना कर पूरे संसदीय क्षेत्र में सक्रिय होना चाहते हैं। आज झांसी में उनके सार्वजनिक स्थलों पर लगे शुभकामनाओं के पोस्टर इस बात को दर्शाते हैं कि वह अपनी विधायकी की सीमा को लांघकर सांसद की सीमा में प्रवेश करना चाहते हैं।

पूर्व विधायक रविंद्र शुक्ला भी टिकट के दावेदारों में बेहद सक्रिय हैं। वह अपनी सीमाओं को विस्तार देने के लिए पिछले काफी समय से जद्दोजहद कर रहे हैं। अपने पिछले विधायक के कार्य काल में शुक्ला ने कई ऐसे कार्य किए, जो उन्हें आज भी जनता से जुड़ा बनाने में सहायक नजर आते हैं।

पार्टी में ब्राह्मण चेहरा और कद्दावर नेता के रूप में स्थापित रविंद्र शुक्ला की लोकप्रियता में फिलहाल किसी प्रकार की गिरावट नहीं है। यही कारण है कि रविंद्र शुक्ला में भी सीमा पार करने की बेताबी है।

फिलहाल जिस तरह से वर्तमान और पूर्व विधायक सांसद की दौड़ में आगे हैं, उसमें बदल रही राजनीतिक परिस्थितियों को परिलक्षित करना शुरू कर दिया है ।

विधायकों के चंद समय में ही सांसद के लिए मैदान में आना यह दर्शाता है कि राजनीतिक परिस्थितियों के साथ दावेदार अपने कार्यों को ठोस मानते हुए जनता से सीधा संवाद करना चाहते हैं ।

अब यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या इन दावेदारों में से किसी को मौका मिलता है और वह सीमाओं को आगे विस्तार देते हुए सांसद या उससे आगे का सफर तय कर पाते हैं या नहीं।

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