लखनउ 3 दिसम्बर-यूपी के निकाय चुनाव मे एक तरफ जहां उप मुख्यमंत्री केशव मौर्य के क्षेत्र मे बीजेपी पराजित हो गयी, तो वहीं चित्रकूट मे सांसद और विधायक भाजपा के होने के बाद भी खाता नहीं खुल सका।
वैसे चित्रकूट में सांसद और विधायक भाजपा के हैं और इन लोगों ने चुनाव प्रचार प्रसार में कोई कमी नहीं छोड़ी थी। घर घर जाकर खूब जनसंपर्क किया गया था उसके बावजूद भी यहां भाजपा प्रत्याशियों की किस्मत का ताला नहीं खुला।
चुनाव से कुछ दिन पहले यहां सीएम योगी आदित्यनाथ भी आए थे लेकिन उसका भी असर नगर निकाय चुनाव के मतदान रिजल्ट पर होता नहीं दिखा। एक और बात जो सामने निकल कर आई है वो यह है कि चाहे भाजपा रही हो सपा या बसपा सबके बागियों ने ही इनकी लुटिया डुबोई है। हर दल से बागी चुनाव लड़े।
बागी नेता चुनाव तो नहीं जीते लेकिन अपनी पार्टी के कैंडिडेट को हराने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी। इसी का नतीजा था कि सपा को मात्र एक सीट मिली जबकि बसपा भाजपा, कांग्रेस का तो यहां खाता नहीं खुला
नगर पंचायत मानिकपुर पर किसी दल का कोई जादू नहीं देखने को नहीं मिला। यहां निर्दलीय प्रत्याशी विनोद द्विवेदी ने अपना कब्जा जमाया ।
सबसे आश्चर्यजनक तथ्य है कि मानिकपुर नगर पंचायत से निर्दलीय उम्मीदवार विनोद द्विवेदी सिर्फ 1002 वोट हासिल कर चेयरमैन बने गये। जो कि कुल मतो का 11 प्रतिशत रहा।
यहां भाजपा प्रत्याशी महेश केसरवानी को मात्र 773 वोट ही मिले। सपा के संग्राम सिंह 721 वोटों के साथ तीसरे स्थान पर और कांग्रेस के रामेश्वर प्रसाद 330 वोटो के साथ चौथे स्थान पर खिसक गए ।
नगर पंचायत राजापुर में सभी राजनैतिक दल बौने साबित हुये और उसका कारण थे बागी। बागियों की वजह से पार्टी के वोट तो बंट गये और इसका सबसे अधिक फायदा निर्दलीय को हुआ।
निर्दलीय महिला उम्मीदवार आदर्श द्विवेदी को सबसे अधिक 2047 वोट मिले और यह चेयरमैन चुने गए। इन्होंने भाजपा के जिला अध्यक्ष व प्रत्याशी अशोक जाटव को भारी अंतर से हराया।
अशोक जाटव को 1437 मत मिले और यह दूसरे स्थान पर रहे। तीसरे स्थान पर निर्दलीय उम्मीदवार संजीव मिश्रा (1184 ) वोट रहे। यहां निवर्तमान अध्यक्ष व सपा प्रत्याशी लक्ष्मी प्रसाद को 175 मत व कांग्रेस के सुभाष को 156 वोट मिले।
