नई दिल्ली 9 दिसम्बरः दिल्ली से लगे गौतमबुद्व नगर के ग्रेटर नाएडा मे हुये चर्चित हत्यकांड मे पुलिस ने बेटे को वाराणसी से खोज निकाला है। पुलिस का दावा है कि बेटे ने गुनाह कबूल कर लिया है। सवाल यह है कि बेटे ने मां और बहन की हत्या क्यो की? क्या यह ब्लू गेम के चक्कर मे हुआ?
आपको बता दें कि 4 दिसंबर को टाइल्स व्यापारी सौम्य अग्रवाल की पत्नी अंजलि और 12 साल की बेटी मणिकर्णिका की चाकू और क्रिकेट से बैट से हमला कर हत्या कर दी गई थी. पुलिस की जांच में हत्याकांड के पीछे लूट का कोई सुराग नहीं मिला था. अब बेटे की बरामदगी के बाद पुलिस ये जान पाएगी कि आखिर बेटे ने अपनी मां और बहन की निर्मम हत्या क्यों की.
नाबालिग बेटे पर अपनी मां-बहन की हत्या करने का शक तो उसी वक्त हो गया था जब घर पर मां-बेटी लाश पड़ी थी और बेटा घर से गायब था. घर में न तो बाहर से घुसने के निशान थे, न लूटपाट के निशान और न ही कोई कीमती चीज गायब थी. सिर्फ दो लाशें और घर में रहने वाला तीसरा सदस्य गायब. लेकिन किसी भी दावे से पहले बेटे का मिलना जरूरी था. लिहाजा इस केस में पुलिस के लिए सबसे अहम कड़ी बेटा ही है.
पुलिस ने घर से सीसीटीवी फुटेज भी बरामद किए हैं. इन सीसीटीवी फुटेज में आरोपी बेटा आखिरी बार दिखा था. पहले रात 8 बजकर 16 मिनट पर मां और बहन के साथ बाजार से घर आते हुए लिफ्ट के अंदर दिखता है. फिर रात 11 बजकर 15 मिनट पर उसी लिफ्ट से घर से जाते हुए. लेकिन इस बार उसके कपड़े बदले हुए हैं. पीछे बैग है और हाथ में मोबाइल फोन.
इन्हीं तीन घंटों के अंदर मां-बेटी की हत्या की गई. लेकिन आरोपी बेटे के हाव-भाव कत्तई इशारा नहीं कर रहे कि वह दो-दो हत्याएं करके घर से निकला है. वह आराम से लिफ्ट से निकल कर बाहर जाता है और एक गार्ड से हाथ मिलाकर गाड़ी में बैठकर निकल जाता है. न कोई डर न घबराहट न शिकन.
यकीन कर पाना तो मुश्किल है कि महज मोबाइल गेम न खेलने देने पर बेटा अपनी मां और बहन की जान ले सकता है. लेकिन इंटरनेट के अंधेरे मकड़जाल और अथाह गहराइयों में भटकने वाले इस जमाने के बच्चे क्या कुछ कर गुजर सकते हैं, यह हमें ब्लू व्हेल गेम बता चुका है.
कहा जा रहा है कि ग्रेटर नोएडा के इस सनसनीखेज दोहरे हत्याकांड की स्क्रिप्ट भी ऐसे ही गेम में लिखी हुई थी. हलांकि हाईस्कूल गैंगस्टर नाम का यह इंटरनेट गेम किसी को ऐसी हिंसा के लिए उकसाने वाला हो इस पर पुलिस को शक है. पुलिस को आस पड़ोस और स्कूल से पूछताछ के दौरन यह भी पता चला है कि आरोपी गुस्सैल व्यवहार वाला है और छोटी छोटी बातों पर भी कई बार झगड़े कर चुका है.
लेकिन क्या ये गुस्सा इतना जहरीला हो सकता है कि अपनी मां और बहन की जान ले ले, वह भी बैट से पीट-पीटकर. कोई यकीन नहीं कर पा रहा है, न परिवार न आस पड़ोस और न ही पुलिस.
आरोपी बेटे की गिरफ्तारी और उसके जुर्म कबूल करने के बाद ग्रेटर नोएडा में मां-बेटी के कत्ल की गुत्थी सुलझती नजर आ रही है. उसने पूछताछ में अपनी मां और बहन के कत्ल की बात कबूल कर ली है. शुक्रवार की रात पुलिस ने वारदात के बाद से फरार चल रहे अंजलि के बेटे को वाराणसी से बरामद किया.
पुलिस ने बताया कि बच्चे की उसके मोबाइल के आधार पर लास्ट लोकेशन पहाड़गंज थी. पहाड़गंज से फिर वह ट्रेन पकड़कर मुगलसराय चला गया. वहां से उसने शुक्रवार की सुबह किसी के फोन से अपने पिता को फोन किया. पिता ने फौरन पुलिस को इसकी जानकारी दी.
इसके बाद एक पुलिस टीम फौरन हवाई जहाज से वाराणसी के लिए रवाना हुई. शुक्रवार की दोपहर को बच्चे ने किसी दूसरे व्यक्ति के फोन से दोबारा अपने पिता को कॉल किया. जिस नंबर से फोन किया उस पर पुलिस ने कॉल कर फोन के मालिक को बताया कि इस लड़के की तलाश की जा रही है, उस पर नजर रखें और पुलिस को लोकेशन बताएं.
उस व्यक्ति की मदद से नोएडा पुलिस ने बच्चे को दशाश्वमेध घाट के पास घूमते हुए पकड़ लिया. उस वक्त बच्चा पूरी तरह नॉर्मल था. बच्चे के पास से पुलिस ने मृतका अंजली का मोबाइल भी बरामद कर लिया. पकड़ में आने के बाद जब पुलिस ने लड़के से पूछताछ की तो उसने अपनी मां और बहन के कत्ल की बात कबूल कर ली.
वहीं आरोपी बच्चे के पिता ने बताया कि उन्हें उनके बेटे ने मुगलसराय से फोन किया था, जिसकी जानकारी उन्होंने तुरंत पुलिस को दी और पुलिस उसे ढूंढने में कामयाब रही. पत्नी-बेटी की मौत से दुखी आरोपी बच्चे के पिता ने कहा कि वह अभी ज्यादा कुछ बोलने की स्थिति में नहीं हैं और बेटे से बात करने के बाद ही कुछ बता पाएंगे.
नोएडा पुलिस के सूत्रों के मुताबिक बच्चे ने ही दोनों कत्ल किए थे. पुलिस के मुताबिक कत्ल करने की वजह क्राइम फाइटर गेम को बताया जा रहा है. सूत्रों के मुताबिक लड़के ने बैट से दोनों की पीट-पीट कर हत्या की थी. अब पुलिस शनिवार को उसे लेकर नोएडा आ रही है.
गौरतलब है कि बीते मंगलवार की रात ग्रेटर नोएडा के गौर सिटी टू के टावर जी के फ्लैट नंबर 1446 में लगे ताले को जब तोड़ा गया तो उसमें खून से सनी मां-बेटी की लाश मिली थी. दोनों की इस बेरहमी से हत्या की गई कि देखने वाले सन्न रह गए थे. जब ये वारदात हुई तो घर में कुल तीन लोग थे. मां, बेटी और बेटा. मगर दरवाज़ा खुला तो लाश सिर्फ मां और बेटी की मिली बेटा गायब था.
दोनों लाशों के पास ही एक बैट पड़ा हुआ मिला था, जिस पर खून के निशान थे. पुलिस को मौके से एक धारदार हथियार भी मिला था. मगर नहीं मिला तो 15 साल का बेटा. तब तक तो ऐसा ही लग रहा था कि जैसे किसी ने मां-बेटी की हत्या की और बेटे को किडनैप कर लिया है.
दरअसल वो फ्लैट अग्रवाल फैमिली का है. जिनका टाइल्स का कारोबार है. 4 तारीख की शाम से परिवार के लोग घर मे मौजूद मां और बच्चों से संपर्क करने की कोशिश कर रहे थे लेकिन जब कई घंटों तक कोई संपर्क नही हुआ तब उन्होंने घर के पास रह रहे रिश्तेरदारों से संपर्क साधा.
जब रिश्तेदार घर पहुंचे. तब फ्लैट बाहर से बंद था और न्यूज़पेपर बाहर पड़ा था. उन्होंने खिड़की तोड़ कर अंदर झांका तो उन्हें मां अंजली और बेटी की लाश नजर आई, जिसके पास पुलिस को सूचना दी गई थी. लड़के के मामा ने भी मीडिया से बातचीत के दौरान अपील की कि इस तरह के मोबाइल गेम बंद होने चाहिए, जिससे किसी की जान चली जाए.