लखनऊ 18 जनवरी । लखनऊ की खंडपीठ ने प्रदेश सरकार से 69 हजार सहायक शिक्षकों की भर्ती के मामले में सोमवार तक के लिए यथा स्थिति बहाल रखने की अपेक्षा की है। हाई कोर्ट की जस्टिस राजेश सिंह चौहान ने शुक्रवार को रिजवान अहमद समेत सैकड़ों शिक्षा मित्र की ओर से दायर की गई याचिकाओं पर दिए हैं।
याज कॉम सरकार की ओर से सामान वर्ग के लिए कट ऑफ 65% और आरक्षित वर्ग के लिए 60% का कट ऑफ रखने को चुनौती दी गई है । इस मामले में कोर्ट ने कटऑफ कम करने के लिए संबंध में सरकार से जवाब मांगा है।
याचिकाकर्ता के वकील अमित सिंह भदोरिया के अनुसार याचिकाओं में प्रदेश सरकार के 7 जनवरी के शासन आदेश को चुनौती दी गई है जिसमें इस परीक्षा में शामिल सामान्य वर्ग के अभ्यर्थियों के लिए 65% और आरक्षित वर्ग के विद्यार्थियों के लिए 60 प्रतिशत न्यूनतम अहर्ता अंक निर्धारित किया गया है।
इतना अधिक न्यूनतम अर्हता अंक निर्धारित करना मनमाना और भेदभाव है क्योंकि इससे पहले हुई इसी परीक्षा में न्यूनतम अहर्ता 45% रखी गई थी।
नए निर्देशों की वजह से कई अभ्यर्थियों के लिए मेरिट में स्थान पाना मुश्किल हो जाएगा। गुरुवार को हुई सुनवाई में प्रदेश सरकार और अन्य पक्षकारों की ओर से भी वकील पेश हुए। हालांकि समय की कमी के कारण बहस पूरी नही हो सकी। ऐसे में हाई कोर्ट में अगली सुनवाई के लिए शुक्रवार सुबह 10:15 बजे का समय दिया था, जिस पर आज कोर्ट में अपना निर्णय दिया।